मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ
मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ
जी चाहे डुबो दो मौजो में
या साहिल पर ले जाओ
मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ
एक तुम ही सहारा हो मेरा
जीवन की अँधेरी रातों में
दुनिया की ख़ुशी तक़दीर का घूम
सब कुछ तुम्हारे हाथों में
अब्ब चाहे इधर ले जाओ मुझे
या चाहे उधर ले जाओ
मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ
मायूस नजर मजबूर कदम
उजड़ा हुआ आलम है दिल का
जीना भी यह कोई जीना है
मुह देख सकू न मंज़िल का
बीते हुए दिन मिल जाए जहां
मुझे ऐसी डगर ले जाओ
हो मुझे ऐसी डगर ले जाओ
मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ
आँसू न बहाओ मेरे लिए
घूम मुझको अकेले सहने दो
टूटे न तुम्हारा नाजुक दिल
यह दर्द मुझ ही तक रहने दो
अब्ब छोड़ दो मुझको राहो में
या दूर नगर ले जाओ
या दूर नगर ले जाओ
मैं टूटी हुई एक नैया हु
मुझे चाहे जिधर ले जाओ