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Kishore Kumar - Ulfut Mein Zamane Ki Lyrics



Kishore Kumar - Ulfut Mein Zamane Ki Lyrics
Official




उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
फिर साथ मेरे आओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

कदमो को न रोकेगी ज़ंजीर रिवाज़ों की
हम तोड़ के निकलेगे दीवार समाजों की
दूरी पे सही मंज़िल दूरी से ना घबराओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

मैं अपनी बहारों को रंगीन बना लूँगा
सौ बार तुम्हें अपनी पलकों पे उठा लूँगा
शबनम की तरह मेरे गुलशन में बिखर जाओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

आ जाओ के जीने के हालात बदल डालें
हम मिलके ज़माने के दिन रात बदल डालें
तुम मेरी वफ़ाओं की एक बार क़सम खाओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
फिर साथ मेरे आओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
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उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
फिर साथ मेरे आओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

कदमो को न रोकेगी ज़ंजीर रिवाज़ों की
हम तोड़ के निकलेगे दीवार समाजों की
दूरी पे सही मंज़िल दूरी से ना घबराओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

मैं अपनी बहारों को रंगीन बना लूँगा
सौ बार तुम्हें अपनी पलकों पे उठा लूँगा
शबनम की तरह मेरे गुलशन में बिखर जाओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ

आ जाओ के जीने के हालात बदल डालें
हम मिलके ज़माने के दिन रात बदल डालें
तुम मेरी वफ़ाओं की एक बार क़सम खाओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
फिर साथ मेरे आओ
उल्फत में ज़माने की हर रस्म को ठुकराओ
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Writer: Naqsh Lyallpuri, Sapan Jagmohan
Copyright: Lyrics © Royalty Network




Kishore Kumar - Ulfut Mein Zamane Ki Video
(Show video at the top of the page)

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