हो रामा डर है लागे अपनी उमारिया से
ओ रामा डर लागे
ओ रामा डर है लागे अपनी उमारिया से
ओ रामा डर लागे
सुर और ताल का मामला है साहेब
ज़रा गौर से सुनिए
आहा अरे वाह वाह वाह वाह
फूँक फूँक कर पाँव धरू मैं फिर भी पायल बाजे
ओ रामा फिर भी पायल बाजे
अरे फूँक फूँक कर पाँव धरू मैं फिर भी पायल बाजे
ओ रामा फिर भी पायल बाजे
सैया जी के घर का कोई खड़ा मोरे दरवाजे
चले जवानी पिच्चे पिच्चे चले जवानी
अरे चले जवानी पिच्चे पिच्चे
बचपन आगे आगे रामा डर लागे
हो रामा डर है लागे अपनी उमारिया से
ओ रामा डर लागे अरे श्यामा डर लागे
अंग अंग मे चंदन महके
ये कैसी ऋतु आई ओ रामा ये कैसी ऋतु आई
अंग अंग मे चंदन महके
ये कैसी ऋतु आई ओ रामा ये कैसी ऋतु आई
चाहे जैसी हवा चले पर
मोहे लगे पुरवाई ओ श्यामा मोहे लगे पुरवाई
नैना दिन भर सपना देखे नैना
अजी नैना अरे नैना
अजी नैना दिन भर सपना देखे
काजल रात को धागे रामा डर लागे
हो रामा डर है लागे अपनी उमारिया से
ओ रामा डर लागे अरे श्यामा डर लागे
अरे रामा डर लागे है
डर कितने प्रकार के होते है
उनको खवाबो मे देखिए
लज्जा
ईर्षा
क्रोध ये सब हां हां हां हां
हो रामा डर है लागे अपनी उमारिया से
ओ रामा डर लागे अरे श्यामा डर लागे
अरे रामा डर लागे
हो रामा डर लागे अपनी इस बुढ़िया से
अरे छोटे सरकार डर लागे
आगयी मेरी माँ किराया लेने